Tuesday 26 March 2013

देशी लुटेरोँ की कहानी


देशी लुटेरोँ की कहानी
भारत मेँ जब भी हम लुट की बात करते है तो हमारे दिलोदिमाग मेँ कई विदेशी आक्रांताओ के नाम उभर आता है लेकिन देशी भी इस मामले मेँ पीछे नहीँ रहे अन्तर बस इतना ही रहा कि विदेशीयोँ ने तलवार के दम पर तो देशी लुटेरोँ ने घोटालोँ का सहारा लिया अँग्रजो से आजाद भारत मे कुछ ही माह बाद पाकिस्तान ने भारत पर कश्मीर को लेकर कबीलाई आक्रमण कर दिया था तब कश्मीर आपरेशन के लिऐ सेना को लगभग 4600 जीपोँ की जरुरत थी जिसमेँ से 1500 जीपोँ की खरीदारी के लिऐ 80 लाख रु. ब्रिटेन मेँ भारत के उच्चायुक्त वी.के.कृष्ण मेनन के हस्ताक्षर से एक विदेशी फर्म से की गयी थी 9माह बाद केवल 150 जीपेँ मद्रास बंदरगाह पर पहुचीँ मामले के जाँच के लिऐ अनन्थसायनाम अय्यनगार की न्यायिक समिति बनी 30 सितम्बर 1955 को सरकार ने घोषणा किया कि जाँच समिति के आधार पर यह मामला बन्द किया जाता है जी.बी.पन्त ने सरकार के तरफ से कहा कि यदि विपक्ष जाँच से सन्तुष्ठ नही है तो वे इसको चुनावी मुद्दा बना सकतेँ हैँ,बाद मेँ उन्ही मेनन को नेहरु मंत्री मंडल मेँ शामिल  किया गया।
उद्योग मंत्री राव बहादुर सिँह(अर्जुन सिँह .प्र. के पिता) ने 1949 मेँ जेनस्टोन व्यापारी सचेन्दूभाई बारोन से उसके हिरा खदान  के पट्टे को नवीनीकरण के लिए 25000 रु. लिऐ थे जिसके लिऐ उन्हे 3 वर्ष की जेल भी हुआ।
साईकल इम्पोर्ट मामला 1951 मेँ व्यापर उद्योग मंत्रालय के सचिव एस..वेंकटरमन को जेल जाना पड़ा जबकी इस मामले के 6 वर्ष बाद1956 मेँ सिराजुद्दिन नाम के व्यापारी की डायरी से उन नेताओँ के नाम प्काश मेँ आया जिन्हे उसने कमीशन के तौर पर घुस दिये थे,वह उस समय तक कई कम्पनियोँ खदानोँ का मालिक बन गया था,खान ईधन मंत्री केशव देव मालवीय ने स्वीकार किया की उन्होने उड़ीसा के खान मालिक से 10000 रु. कमीशन के तौर पर लिया है बाद मेँ पं. नेहरु के दबाव मे मालवीय को अपना पद त्याना पड़ा था।
 भारत मेँ पहली बार किसी शैक्षणिक संस्थान मेँ लुट प्रकाश मेँ आया वो था वर्ष 1956 मे  बी.एच.यु. फण्ड का 50 लाख रु.जिसमेँ विश्वविद्यालय के कर्मचारीयोँ की भूमिका थी।
वर्ष 1957 मेँ भारतीय जीवन बीमा निगम के शयरोँ को बेचने का मामला आया जिसमेँ फ़िरोज गाँधी ने वित्त मंत्री टी टी कृष्णामचारी उनके वित्त सचिव को गोपनिय पत्र लिखा था इस सन्दर्भ मे संसद मेँ सवाल उठा था कि कलकत्ता के व्यापारी हरिदास मुन्द्रा ने शयरोँ को बेचने मेँ धोखाधड़ी की है तो नेहरु ने न्यामूर्ती एम सी चागला के नेतृत्व मेँ एक जाँच आयोग बनाया आयोग ने मुन्द्रा को 1.25 कड़ोड़ रु. के जालशाजी का दोषी पाया जिसके लिए मुन्द्रा को 22 वर्ष का कारावास हुआ टी टी कृष्णामचारी को पद त्यागना पड़ा।
 वर्ष 1960 मेँ जयंत धर्मा तेजा नाम के व्यापारी ने जयन्ती शिप कम्पनी स्थापित करने के 22 कड़ोड़ रु. लोन लिया सारा रुपये लेकर यूरोप भाग गया उसे वहाँ गिरफ्तार किया गया 6 वर्ष का कारावास भी हुआ।
१९७४ में पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गाँधी ने अपने पुत्र संजय गाँधी के पक्ष में पैसेंजर  कार बनाने के लिए मारुती कंपनी को अवैध तरीके से लाइसेंस जारी   किया था | १९७६ में इंडियन आयल कारपोरेसन   ने हान्कान्ग की एक फर्म कुओ आयल जो की अस्तित्व में ही नहीं था के पक्ष में . करोड़ रुपये का कान्ट्रेक्ट किया गया था जिसमें सर्कार को लगभग १३ करोड़ का घाटा हुआ जिसके लिए पेट्रोलियम रसायन  मंत्री जिम्मेदार थे
1981 में mahaaraastra के मुख्यमंत्री .आर. अंतुले ने ३० करोड़ रूपये का सीमेंट जो की सार्वजनिक उपयोग के लिए था उसको बेच कर  निजी ट्रस्ट में पैसा जमा कर लिया |
१९८७ में जर्मन सबमरीन कंपनी को इसलिए ब्लैक लिस्टेड किया गया था कि कमीशन  के तौर पर २० करोड़ रूपये दिए थे ,जिसे  एच डब्लू   डी कमीशन  के नाम से जानते है
१९८७  में बोफोर्स तोप सौदे में ६४ करोड़ रुपए की दलाली स्वीडन की कंपनी के साथ हुई थी  जिसमे तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गाँधी व उनकी पत्नी सोनिया गाँधी के रिश्तेदार ओत्तावियो कुँत्त्रोच्ची और विन चड्डा शामिल थे
१९८९ में मिस्टर क्लीन प्रधानमंत्री वी.पी सिंह ने अपने पुत्र अजेय सिंह को लाभ पहुचाते हुए उनके ट्रस्ट को २१ करोड़ डॉलर दिया गया जो सेंट किट्ट्स धोखा धडी के नाम से जाना जाता हैं
१९९० में इंडिया एयर लाइन्स को  अ-३२० वायुयान खरीदने  के लिए २०० करोड़ रूपये का निर्गत किया गया जो एयर बस घोटाले के नाम से जाना जाता हैं जिसमे सरकार को २५ करोड़ रूपये प्रति सप्ताह नुकसान हुआ

देशी लुटेरो की कहानी अभी जारी रहेगी ..........मिलते है अगले अंक में

देशी लुटेरों की कहानी
गतांक से आगे ........
वर्ष 1992 में भारतीय विदेश मंत्री, माधव सिंह सोलंकी ने स्विस सरकार को चिट्ठी लिखकर बोफोर्स मामले से सम्बन्धित बैंक खातों के बारे में जाॅंच आख्या न दें, इसके लिए उन्हें अपने मंत्री, पद से त्याग-पत्र देना पड़ा था।
वर्ष 1992 में ही     इण्डियन बैंक के चेयरमैन एम0गोपाला कृष्णन लगभग 1300 करोड़ का घोटाला किया था जिसे इण्डियन बैंक रिप आॅॅंफ के नाम से जानते हैं।
वर्ष 1994 में खाद्य मंत्री, भारत सरकार कल्पनाथ राय ने बाजार से अधिक मूल्य पर चीनी का आयात किया था जिसकी वजह से 650 करोड़ रूपये की हानि सरकार को हुई थी। बाद में मामले का खुलासा होने पर श्री राय को अपने पत्र से त्याग पत्र देना पड़ा था।
वर्ष 1993 में झारखण्ड मुक्ति मोर्चा के नेता शैलेन्द्र महतो ने पी0बी0 नरसिंम्हा राव की सरकार बचाने के लिए अपनी पार्टी के तीन सदस्यों को अवैध मतदान कराने के लिए उनसे रू0 30 लाख लिए थे जिसका खुलासा वर्ष 1995 मे हुआ था जिसे झारखण्ड मुक्ति मोर्चा घोटाले के नाम से जाना जाता है।
वर्ष 1996 में पी0बी0 नरसिंम्हा राव ने चन्द्रा स्वामी के माध्यम से लखू भाई पाठक से रू0 10 लाख लिए थे जिसे लखू भाई पाठक धोखाधड़ी के नाम से जानते हैं।
वर्ष 1996 में ही संचार मंत्री, सुखराम ने हैदराबाद की एक प्राइवेट फर्म को संचार यंत्रों की खरीदारी के लिए 1.06 करोड़ रूपये का घोटाला किया था जिसके लिए उन्हें वर्ष 2002 में सजा भी मा0 न्यायालय द्वारा सुनाई गयी थी।
वर्ष 1996 में ही भारत के एकाउटेंट जनरल के मिली-भगत से बिहार के तत्कालीन मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव ने रू0 950 करोड़ का बिहार चारा घोटाला किया था जिसकी वजह से उन्हें अपना पद छोड़ना पड़ा था।
वर्ष 1996 में ही भारतीय फर्टीलाइजर के निदेशक, सी0एस0 रामा कृष्णन ने पी0वी0 नरसिंम्हाराव के करीबी उद्योगपति से रू0 133 करोड़ का दो लाख टन यूरिया का आयात किया था जोकि मांत्र कागजों में ही अंकित रह गया है।
वर्ष 1996 में ही सी0बी0आई0 ने एस0के0 जैन डायरी से ढेर सारी लोगों के नाम की सूची प्राप्त की जिसे हवाला डायरी केस के नाम से जानते हैं।
वर्ष 1997 में चैन रूप भंसाली ने 1000 करोड़ रूपये का बैंक के मियुच्अल फण्ड का घोटाला किया।
वर्ष 1998 में मुम्बई शेयर बाजार के दलाल हर्षद मेहता ने 5000 करोड़ रूपये का शेयर घोटाला किया।
वर्ष 1998 में ही वैनेशिंग कम्पनी घोटाला हुआ जिसमें लगभग 80 कम्पनियों शामिल थी जिससे लगभग 330 करोड़ रूपये का नुकसान हुआ।
वर्ष 2000 में मो0 अजहर्दुदीन तत्कालीन भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान ने अजय जडेजा को मनोज प्रभाकर के साथ मिलकर मैच फिक्सिंग के लिए पैसा लिए थे, जिसकी वजह से उनको अपनी कप्तानी गवानी पड़ी थी तथा मनोज प्रभाकर एवं अजय जडेजा को 05 वर्षो के लिए क्रिकेट खेलने पर प्रतिबन्ध लगा दिया गया था। वर्तमान में मो0 अजहर्दुदीन मा0 लोकसभा के सदस्य हैं।
वर्ष 2001 में तहलका डाक काम ने स्टिंग आपरेशन के दौरान तत्कालीन सत्ताधारी पार्टी, भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष बंगारू लक्ष्मन को घूस लेते हुए दिखाया गया था, जिसके कारण उन्हें अपने पद से त्यागपत्र देना पड़ा तथा मा0 न्यायालय द्वारा उन्हें सजा भी सुनाई गयी।  
वर्ष 2002 में संजय अग्रवाल होम ट्रेड फर्म के सी0ई0ओ0 को 600 करोड़ रूपये के घोटाले में गिरफ्तार किया गया जिसे होम ट्रेड घोटाले के नाम से जानते हैं।
वर्ष 2003 में फर्जी स्टैम्प घोटाला सामने आया जिसमें 18 राज्यों के 72 शहरों में 10 वर्षो से फर्जी स्टैम्प पेपर ब्रिकी हो रही थी जिससे राजस्व में 32000 करोड रूपये का सरकार को घाटा हुआ।
वर्ष 2005 में तेल के बदले अनाज घोटाला सामने आया जिसमें विदेश मंत्री, के0 नटवर सिंह की संलिप्तता थी।
वर्ष 2007 में पुणे के रियेल स्टेट व्यापारी हसन अली ने अवैध रूप से 39120 करोड़ रूपये की टैक्स चोरी की थी।
वर्ष 2008 में सत्यम् के एम0 रामलिंमग् राजू ने लगभग 8000 करोड़ रूपये का सरकार को चूना लगाया।
वर्ष 2010 में आई0पी0एल0 घोटाला सामने आया जिसमें आई0पी0एल0 के अध्यक्ष श्री ललित मोदी व शशि थरूर का नाम संलिप्त थे जिसे दोनों को अपने पद से त्याग-पत्र देना पड़ा।
वर्ष 2010 में ही संचार मंत्री, ए0राजा ने लगभग 176000 करोड़ रूपये का टू जी स्पेक्ट्रम घोटाला किया जिसकी जाॅंच सरकार द्वारा करायी जा रही है।
  वर्ष 2010 में ही कामनवेल्थ गेम के अध्यक्ष सुरेश कल्माडी ने लगभग 700000 करोड़ रूपये का घोटाला सामने आया जिसकी जाॅंच सरकार द्वारा की जा रही है तथा कल्माडी को अपने पद से भी इस्तीफा देना पड़ा।
वर्ष 2010 में ही महाराष्ट्र में आदर्श हाउसिंग सोसाइटी जोकि युद्ध में मारे गये सैनिकों के आश्रितों के लिए घर बनाने की योजना चलाई गयी थी जिसमें अवैध रूप से सस्ते दरों पर गैर सैनिक आश्रितों को भी आवास आवंटित किए गये थे जिसके फलस्वरूप तत्कालीन मुख्यमंत्री अशोक चैह्ाण को अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा था जिसकी जाॅंच सरकार द्वारा करायी जा रही है।
इस तरह से आजादी के बाद अब तक देशी लुटेरों ने घोटालों के दम पर लगभग 21 लाख करोड़ रूपये की लूट की है।
यदि 21 लाख करोड़ रूपये भारत के विकास में खर्च किए जाते तो भारत की तस्वीर कुछ और ही होती।
            जय हिन्द 

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